पटना: बिहार विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान हो चुका है. पहले चरण के चुनाव के लिए नामांकन की प्रक्रिया 1 अक्टूबर से शुरू हो जाएगी. एनडीए और महागठबंधन की अंतिम रूपरेखा अभी तक साफ नहीं हो पाई है लेकिन एलजेपी ने इस बार विधानसभा चुनाव में अकेले लड़ने का लगभग मन बना लिया है.


एक न्यूज चैनल की मानें तो पार्टी ने बिहार में अकेले चुनाव लड़ने की पूरी तैयारी कर ली है. उनके मुताबिक पार्टी राज्य की 143 सीटों पर अपना उम्मीदवार उतारने का मन बना चुकी है. सभी सीटें बीजेपी को छोड़ जेडीयू औऱ हम के खिलाफ में रहेगी. पार्टी का अकेले चुनाव में उतरना महज एक औपचारिकता है और इसका ऐलान भी जल्द ही कर दिए जाने की संभावना है.
नीतीश के खिलाफ उम्मीदवार देंगे चिराग
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और लोजपा अध्यक्ष के बीच लगातार तनातनी चल रही है. कई दिनों से इस बात के कयास लग रहे हैं कि दोनों एक साथ चुनाव नहीं लड़ेंगे. चिराग पासवान और उनकी पार्टी ने कोरोना और बाढ़ जैसे कई मुद्दों पर नीतीश कुमार के कामकाज पर सवाल खड़े किए हैं. हालांकि चिराग पासवान के इस कदम पर बीजेपी का स्टैंड क्या होगा ये देखने वाली बात होगी. वहीं, चिराग पासवान के पिता और लोजपा संस्थापक रामविलास पासवान पिछले एक महीने से बीमारी की वजह से अस्पताल में भर्ती हैं.
चिराग के साथ सभी सांसद
पार्टी सूत्रों के मुताबिक, पार्टी की चुनावी रणनीति को लेकर पार्टी के सभी सांसदों, विधायकों और पदाधिकारियों से विचार विमर्श किया गया है. सभी नेताओं ने चिराग पासवान के साथ चलने के लिए सहमत हैं. सभी ने आम सहति बनाई है कि बिहार में पार्टी को अपने बलबूते चुनाव लड़ना चाहिए. बता दें कि इसके पहले एक खबर आई थी कि एनडीए से अलग चुनाव लड़ने को लेकर चार सांसद सहमत नहीं है. इसमें चिराग के चाचा पशुपति कुमार पारस का नाम भी बताया जा रहा था लेकिन पारस ने एक लिखित बयान जारी कर इन खबरों का खंडन किया. पारस ने कहा कि वो पूरी तरह चिराग पासवान के फैसले के साथ हैं.