Bihar Transport Department : बड़े-बड़े नगरों में ट्रैफिक जाम की समस्या आम है और इसका मुख्य कारण है दिन-दिन बढ़ती वाहनों की संख्या। इन वाहनों में सबसे ज्यादा सिटी ऑटो और बसें शामिल होती है, जिनकी वजह से अक्सर ट्रैफिक जाम की स्थिति पैदा होती है और लोगों को घंटों जाम में खड़ा रहना पड़ता है। इसके चलते स्कूल-कॉलेज या दफ्तर जाने वाले लोगों को समय से काफी पहले घरों से निकलना पड़ता है। कई बार तो एंबुलेंस जैसे एमरजंसी सर्विस के वाहन भी जाम में फंस जाते हैं।
बिहार के भी कई शहरी क्षेत्रों में कुछ प्रमुख सड़कों पर ऑटो की संख्या काफी अधिक देखी जाती है, जिससे अक्सर जाम की स्थिति पैदा हो जाती है। इसे ध्यान में रखते हुए परिवहन विभाग ने सिटी ऑटो और बसों का रूट निर्धारित करने का फैसला लिया है। इस संबंध मे तैयारियां पहले से ही शुरू कर दी गयी है। आगामी अगस्त महीने में ये नियम लागू भी कर दिया जाएगा। सभी ऑटो चालकों को इसका पालन करना होगा। अगर कोई भी नियम का उल्लंघन करता है, तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
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Bihar Transport Department : परिवहन विभाग ने सभी जिलों से रिपोर्ट मांगी
इस बाबत परिवहन विभाग ने सभी जिलों से रिपोर्ट मांगी है। विभाग की समीक्षा बैठक में यह पाया गया कि अलग-अलग शहरों में कुछ रूटों पर गाड़ियों की संख्या काफी अधिक है। विभाग का मानना है कि रूट के निर्धारण के बाद सभी ऑटो और सिटी बस चालकों को रोजगार मिलेगा और सभी मिलजुल कर अपना जीवन यापन करेंगे।
विभाग ने हाल ही में पटना की विभिन्न सड़कों से ऑटो चालक संबंधी रिपोर्ट ली है। इसके बाद यह बात सामने आई है कि पटना कि एक – दो सड़कों पर ऑटो की संख्या काफी अधिक है। इस वजह से सवारी उठाने के लिए ऑटो चालकों की वजह से अक्सर जाम की स्थिति पैदा हो जाती है। वहीं दूसरी तरफ कुछ रूटों पर ऑटो की संख्या कम होने से लोगों को परेशानी भी होती है।