न्यूज़ डेस्क: बिहार विधानसभा चुनाव में एनडीए सरकार द्वारा वादा किया गया था कि जल्द बिहार अन्य राज्यों की तरह फैक्ट्री और कंपनियां लगाने के मामले में तरक्की करने वाला और अब ऐसा धीरे धीरे होते हुए देखा जा रहा है। ऐसी बहुत सारी कंपनियां हैं, जिन्हें बिहार में फैक्ट्री लगाने के लिए क्लीयरेंस मिल चुकी है, लेकिन वही बड़ा सवाल यही उठता है कि अभी तक बिहार में किस-किस कंपनी को फैक्ट्री लगाने की अनुमति मिल चुकी है।
बिहार में औद्योगिक इकाइयां लगने जा रही हैं, जिसमें 70 कंपनियों ने आवेदन किया था, और उनमे 15 कंपनियों को पहले चरण की क्लीयरेंस मिल चुकी है। बता दें बीते दिनों विकास आयोग बिहार की अगुवाई में निवेश प्रोत्साहन परिषद की बैठक हुई है। इस मीटिंग के दौरान 97 प्रस्तावों को पहले चरण क्लेरेन्स की सहमति प्रदान की गई, जिनमें संभावित निवेश की राशि 3516 करोड़ है।
वही इन प्रस्तावों में 15 एथेनॉल उत्पादन की इकाइयां हैं। 5 ऑक्सीजन उत्पादन संबंधित इकाइयां हैं। 21 खाद्य प्रसंस्करण की इकाइयां हैं। 16 सामान्य विनिर्माण क्षेत्र की इकाइयां हैं। 3 प्लास्टिक रबड़ प्रक्षेत्र के इकाइयां पर्यटन संबंधी दो इकाइयां हैं। 1 अक्षय ऊर्जा की इकाई और टेक्सटाइल से संबंधित दो इकाइयां हैं। 1 इलेक्ट्रॉनिक हार्डवेयर की इकाई सम्मिलित है।
हम आपको बता दें बिहार के लिए यह सभी कंपनियां काफी महत्वपूर्ण हैं, क्योंकि बिहार के विकास के लिए इन कंपनियों का फैक्ट्री यहां पर लगना काफी महत्वपूर्ण है। वही इन इकाइयों में महत्वपूर्ण जेएसडब्ल्यू प्रोजेक्ट लिमिटेड यानी के सज्जन जिंदल ग्रुप है। इसके साथ ही हल्दीराम भुजियावाला लिमिटेड माइक्रोमैक्स बायोफ्यूल्स प्राइवेट लिमिटेड इंडियन स्मार्ट एग्रोटेक प्राइवेट लिमिटेड, बिहार डिस्टेंस एंड पार्टनर इंडिया प्राइवेट लिमिटेड और शक्ति अर्थ मूवर्स एलएलपी। न्यूवे होम प्राइवेट लिमिटेड, एलाइंस इंडिया कंज्यूमर प्रोडक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड, न्यूजीयन बायोफ्यूज प्राइवेट लिमिटेड, शामिल हैं। आपको बता दें कि इनके 10 प्रस्तावों पर 270.15 करोड रुपए के निवेश की स्वीकृति मिल चुकी है।